Article By ANAND VISHWAKARMA

Tuesday, 13 June 2017

कांग्रेस और आप पार्टी पहुंची ग्राम जाजना

हमारा कर्ज माफ नही किया तो पूरा परिवार कर लेगा आत्महत्या

निज संवाददाता रेहटी 
रेहटी के ग्राम जाजना के किसान की कर्ज के कारण हुई मौत के बाद राजनीति सियासतें तेज हो गई हैं। किसान के मरने के दूसरे दिन नेशनल कांग्रेस के राष्ट्रीय सचिव एवं राऊ विधायक जीतू पटवारी, इछावर विधायक शैलेंद्र पटेल, युथ कांग्रेस के प्रदेशाध्यक्ष कुणाल चौधरी और उनके बड़ी संख्या में कार्यकर्ता मंगलवार को जाजना गांव पहुंचे। इससे पहले भोपाल से आप पार्टी के प्रदेश संयोजक और कार्यकर्ता भी गांव जाजना पहुंचे। इधर मृतक किसान दूलीचंद कीर के बेटे इंद्रकुमार कीर ने कांग्रेस और आप पार्टी और मीडिया के सामने बयान देकर सबको चौंका दिया। इंद्रकुमार का कहना था कि मैरे पिताजी की मौत कर्ज से परेशान होकर हुई है जहंा हमें 4 लाख बैंंक का और २ लाख बाजार का देना था। अगर कर्ज नही होता तो मेरे पिताजी की जान नही जाती। और हमर पर जो 6 लाख का कर्ज है उसे शासन ने माफ नही किया तो पूरा परिवार जहर पीकर आत्महत्या कर लेगा। क्योंकि हम लोग इतने सक्षम नही है कि यह कर्ज वापस कर सकें। शासन प्रशासन की ओर से अभी तक तहसीलदार रेहटी राजेंद्र जैन ही ग्राम जाजना सोमवार को पहुंचे थे। 
किसान का मुद्दा विधानसभा में उठाऊंगा
नेशनल कांग्रेस के राष्ट्रीय महा सचिव व विधायक जीतू पटवारी ने मृतक किसान के परिवार क ो ढाढस बंधाते हुए कहा कि किसान का मुद्दा विधानसभा में उठाऊंगा मैं यहां राजनीति करने नही आया हूं। प्रशासन का कहना है कि किसान की मौत सामान्य मौत है। इसकी वास्तविकता के लिए यहां पर आया हूं। उन्होने मृतक के परिवार को कांग्रेस की ओर से भी राहत राशि दिलाने का आश्वासन दिया। वहीं जीतू पटवारी ने कहा कि यहां आकर मुझे ज्ञात हुआ कि किसान की मौत सामान्य मौत नही है। वह कर्ज से परेशान था। जिसके चलते उसकी मौत हुई। जीतू पटवारी के साथ इछावर विधायक शैलेंद्र पटेल, युथ कांग्रेस के प्रदेशाध्यक्ष कुणाल चौधरी, युथ कांग्रेस के विधानसभा अध्यक्ष अजय पटेल, ब्लॉक अध्यक्ष केशव चौहान, बिष्णु प्रसाद ठाकुर, उपाध्यक्ष अमित अर्जुन पटेल, राजेंद्र गुप्ता, गोविंद पांडे, मलखान चंद्रवंशी, मेहताब सिंह चौहान सहित कई लोग उनके साथ थे। 
महिलाओं ने किया जीतू पटवारी का विरोध

जाजना पहुंचने पर जब जीतू पटवारी मृतक परिवार के घर बैठकर चर्चा कर रहे थे। तभी ६-७ महिलाएं आईं और बोला कि अभी तक कांग्रेस हमारे गांव क्यों नही आई। ऐसा क्या हो गया जो अब कांग्रेस हमारे गांव पहुंची है। हम शिवराज सिंह चौहान को बदनाम नही होने देंगे। इसी प्रकार की कई अनलीगल बातें महिलाएं सुनाती रही। जिसमें रेखा बाई, शुगना बाई, पार्वती बाई, जमना बाई सहित जो महिलाएं थी ऐसा माना जा रहा है कि वह भाजपा समर्पित महिलाएं थी। जो भाजपा कार्यकर्ताओं के इशारों पर यह सब कर रहीं थी। जिसे जीतू पटवारी ने दुर्भाग्यपूर्ण बताया है। मैं तो इतना चाहता हूं कि पीडि़त परिवार को न्याय मिले। जब प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान  मंदसौर में एक गोली के एक करोड़ दे सकते हैं तो इस किसान को भी एक करोड़ रूपया मिलना चाहिए। 
भोपाल से आप पार्टी भी जाजना पहुंची
भोपाल से आप पार्टी के प्रदेश संयोजक आलोक अग्रवाल प्रदेश संगठन सचिव अनिल भटनागर, प्रवक्ता लक्ष्मी चौहान, अर्जुन शर्मा सहित कई आप पार्टी कार्यकर्ता ग्राम जाजना पहुंचे। जहां कर्ज के बोझ के बाद किसान की मौत की जानकारी ली। 





दूलीचंद की मौत पर गर्माया सियासी माहोल, जानिए पूरा सच

किसान दूलीचंद की मौत पर नया सियासी माहोल गर्मा गया है कि आखिर 52 वर्षीय किसान की मौत कैसे हुई। 
इस विषय में विस्तार पूर्वक नीचे लिखा गया है। जानिए पूरा सच
संवाददाता आरवी विश्वकर्मा 

किसान दूली चंद की मौत का मामला मुख्यमंत्री के विधानसभा क्षेत्र का होने के कारण अधिक गर्मा गया है। इसे आत्महत्या का रूप दिया जा रहा है। लेकिन साक्ष्य अभी भी आत्महत्या के नही मिल पा रहे हैं। जबकि कांग्रेस के विधायक जीतू पटवारी और कुणाल चौधरी जाजना पहुंचकर किसान के परिजनों से भेंट की। और जानकारी ली। 
      किसान दूलीचंद पर जिला सहकारी केंद्रीय बैंक का लोन बकाया था। जिसे १५ दिन पहले ही दूलीचंद ने जमाकर दूसरा लोन ले लिया था। वहीं अन्य बैंकों का बकाया अधिक होने के कारण किसान परेशान जरूर था। और इसी को लेकर अधिक शराब पी लेने की बात भी परिजन स्वीकार कर रहे हैं। लेकिन किसान की मौत किन परिस्थितियों में हुई यह जांच के बाद ही पता चलेगा। 
दूलीचंद की मौत को लेकर कांग्रेस में गर्माया माहोल प्रशासन ने बड़ाई पुलिस व्यवस्था
क्षैत्र में कोई अप्रिय घटना न हो, जाम जैसे हालात पैदा न हो इसलिए प्रशासन ने ऐतिहात के तौर पर रेहटी पुलिस थाने में और ग्राम जाजना में पुलिस बल बड़ा दिया है। जिससे कि शांतिपूर्ण माहोल बना रहे। कंाग्रेस के कार्यकर्ता सुबह 9 बजे से ही दूलीचंद के निवास पर पहुंच गए थे। और जानकारी लेकर अपने नेताओं को दे रहे थे। 6 बजे के बाद कुणाल चौधरी और जीतू पटवारी जाजना पहुंचे। 
पुलिस ने की जांच तेज
रेहटी पुलिस ने दूलीचंद मामले में जांच के आदेश तेज कर दिए। और बैंक, रिश्तेदारों से बयान लेकर दूलीचंद के मामले की निष्पक्ष जांच करने में पुलिस जुट गई है। आरंभिक जांच में किसान ने दो बैंकों से केसीसी बनवा रखा है। जिला सहकारी केंद्रीय बैंक से 94 हजार रूपए जिसका खाता पुराना चुक्ता जमा कर पुन: लोन केसीसी का लिया है। दूसरी बैंक से 2 लाख 47 हजार रूपए का लोन लिया था जो 17 मई को जमा करा दिया है। और पुन: केसीसी लोन लिया है। यह कोई कर्जदार नही है। 

दूलीचंद की मौत बीमारी से हुई है। यह आरंभिक जांच में सावित हो गया। किसी प्रकार की आत्महत्या का कोई मामला नही है। और ना ही दूलीचंद साहूकार या बैंक का कर्जदार था। केसीसी जरूर उसके नाम पर है। जिसे वह जमा कर चुका है। 
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राजेंद्र जैन तहसीलदार रेहटी

Saturday, 3 June 2017

अभी अभी दो बाईक पर १६ नग सागोन लकड़ी जब्त, आरोपी फरार

परिक्षेत्र अधिकारी रितु तिवारी के मार्गदर्शन में अवैध रूप से सागोन की लकड़ी काटकर सिल्ली बनाकर दो अलग-अलग घटनाओं में वन अमले ने एक स्थान पर  16 लकड़ी जब्त की है। एक बाईक पर 8 और दूसरी बाईक पर भी 8 सिल्लियां अवैध रूप से जिनकी कीमत 20 हजार बताई जा रही है। वन विभाग ने यह जब्ती दो स्थानों पर गोंडीगुराडिय़ा और जमोनिया सडक़ मार्ग पर की है। यह दोनो ही बाईक रेहटी वन विभाग अमले ने जब्त कर ली है। लेकिन आरोपी लकड़ी और बाईक छोडक़र भाग गए। इस कार्रवाई में डिप्टी रेंजर आरएस जादोन, डिप्टी रेंजर देवी सिंह भामर, दिनेश धुर्वे, आनंद ठाकुर, हरीश माहेश्वरी, चंदर सिंह चंद्रवंशी, राधेश्याम सिंह, रामरूचि साहू, लालजी शर्मा, मुकेश यादव, अजहर अलि, पदम ङ्क्षसह टीम में शामिल रहे। 
चोरी की बाईक से हो रही है चोरी
जिन बाईकों से लकड़ी चोरी की जा रही है। उन बाईकों पर नंबर फर्जी अंकित किए गए हैं। जो नंबर बाईकों पर लिखे गए हैं उनमें एमपी 37 बीए २७६३, एमपी 37 एमआर ०११५ जिनकी कीमत लगभग 40 हजार रूपए बताई जा रही है। लेकिन इन बाईकों के चेसिस नंबर अलग बताए जा रहे हैं। इससे प्रतीत होता है कि यह बाईक चोरी की है और इन बाईकों को आरोपी लकड़ी चोरी करने के लिए ही खरीदते हैं। आवश्यकता उस बात की है आरटीओ क्षेत्र में पता लगाए कि कितनी बाईक बिना नंबर, बिना पंजीयन के चोरी की दौड़ रही है। जिनसे आरोपी अपराध कर रहे हैं। लेकिन इस ओर किसी का ध्यान नही जा रहा है। उल्लेखनीय है कि वन विभाग के अधिकांश लकड़ी जब्ती में आरोपी फरार ही बताए जा हैं। वन विभाग ने यह जब्ती भी एक लंबे अर्से बाद जब्त की है। जबकि यहा वन विभाग का बड़ा अमला पदस्थ है। यहां प्रतिदिन तीनों आरामशीनों पर 200 से अधिक सिल्लियां रोज आ रही है जिसे वन विभाग ने अनदेखा कर रखा है।