Article By ANAND VISHWAKARMA

Tuesday, 25 September 2018

देलाबाड़ी घाट पर हुआ हादसा 9 घायल, 7 गंभीर


निज संवाददाता रेहटी/चकल्दी
भोपाल में आयोजित भाजपा का कार्यकर्ता महाकुंभ में मंगलवार को चकल्दी के लोगों के लिए भोपाल की मिनी बस आ जाने के लिए लगाई गई थी। मिनी बस में सवार 11 भाजपा कार्यकर्ताओं को यह नही मालूम था कि जिस मिनी बस में हम बैठे हैं, उसमें चालक है ही नही और हेल्पर ही मिनी बस चला रहा है। इस जोखिम भरी यात्रा में आखिरकार भोपाल से लौटते समय देलाबाड़ी घाट पर मिनी बस पलट गई। जिसमें हेल्पर सहित चकल्दी के 8 महिला पुरुष घायल हो गए। जिसमें 7 को गंभीर अवस्था में भोपाल रेफर किया गया। घटना शाम करीब 5:30 बजे की है। सभी घायलो को एंबुलैंस से रेहटी अस्पताल लाया गया। जहां डाक्टर मेहरबान सिंह, डॉ एसके यादव, डॉ रामनाथ घुसिया और उनके स्टॉफ ने तत्काल सभी का ईलाज शुरू करने के बाद गंभीर 7 लोगों को भोपाल रेफर किया। भोपाल रेफर करने वालों में संतोष सोनी पिता घासीराम सोनी उम्र 40 वर्ष ग्राम चकल्दी, लक्ष्मीबाई पत्नी रंजीत उम्र 45 वर्ष ग्राम चकल्दी, राजकुमारी पति कैलाश वर्मा उम्र 40 वर्ष, गीता बाई पति रामदयाल उम्र ५५ साल, सुनील विश्वकर्मा पिता मदनलाल उम्र 40 वर्ष ग्राम चकल्दी, कुलदीप पिता कैलाश वर्मा उम्र 28 साल ग्राम चकल्दी। वहीं मिनी बस का चालक कालूराम केवट पिता बसंतीलाल निवासी भोपाल को भी भोपाल रेफर किया है। वहीं सीताराम पिता जगन्नाथ उम्र 60 साल, अजय पिता राधेश्याम उम्र 15 वर्ष ग्राम चकल्दी का ईलाज रेहटी में चल रहा है। घटना की सूचना मिलते ही तहसीलदार महेंद्र प्रताप सिंह, सलकनपुर चौकी प्रभारी पूजा राजपूत, एसआई श्याम सुंदर सूर्यवंशी सहित पुलिस बल मौके पर पहुंच गया। 


चला रहा था हेल्पर मिनी बस 
मिनी बस में कुल 11 लोग सवार थे। जिसमें से घायल सुनील विश्वकर्मा ने बताया कि बस में ड्रायवर नही था। और हेल्पर ही मिनी बस चला रहा था। और मिनी बस अनियंत्रित होकर पलट गई। 
बड़ा हादसा होने से बचा
देलाबाड़ी घाट पर 200-200 फीट गहरी खाईयां है। अगर मिनी बस इन खाईयों में गिर जाती तो मिनी बस में सवार ११ लोगों में से कोई भी नही बच पाता। लेकिन मिनी बस घाट उतरने के बाद टर्न पर पलटी। जिसके कारण एक बड़ा हादसा टल गया। 
देलाबाड़ी पर नही मिलता है मोबाईल नेटवर्क
क्षैत्र का देलाबाड़ी घाट एक ऐसा घाट है। जहां आए दिन दुर्घटनाएं होती रहती है। लेकिन यहां मोबाईल का नेटवर्क नही मिलने से घायलो को एंबुलैंस और 108 की सुविधा तत्काल नही मिल पाती है। फिर इस मार्ग पर चलने वाली यात्री बसें ही रेहटी आकर जानकारी दी जाती है कि देलाबाड़ी पर दुर्घटना हो गई है। तब जाकर घायलो को रेहटी लाया जाता है। मंगलवार को भी यही हुआ, मोबाईल का नेटवर्क नही मिलने से महाकुंभ में पहुंचने वाली अन्य बसों में बैठे लोगों ने घायलो को रेहटी लाने में मदद की।